512 अर्घ्य चढ़ाकर की गयी सिद्धों की आराधना

इटावा। पार्श्वनाथ दिगम्बर जैन मन्दिर लालपुरा में चल रहे सिद्ध चक्र महामंडल विधान के सातवे दिन 512 अर्घ्य भगवान के समक्ष अर्पित किये गये। विधान के मध्य प्रतिष्ठाचार्य संजय शास्त्री सिहोनियां ने कहा कि संसार मैं इतना कोई अमीर नहीं है जो अपने अतीत को खरीद सके और ना ही कोई इतना गरीब है कि वह मुस्कुराहट का भी दान कर सके। अमीरी और गरीबी तो मन के समीकरण है। इसलिए जब भी समय मिले प्रभु की भक्ति करते रहिये।
विधान में सह प्रतिष्ठाचार्य प्रशान्त शास्त्री ललितपुर, संदीप शास्त्री अंवाला द्वारा प्रातः 6.30 बजे श्रीजी का जलाभिषेक एवं शांतिधारा करने का सौभाग्य भगवान के माता पिता बने सुबोध जैन, सौधर्म इन्द्र विशाल जैन फिरोजाबाद से आए भक्तों को प्राप्त हुआ। यज्ञनायक पप्पी जैन एवं कुबेर इन्द्र रमेश चन्द्र जैन, श्रद्धा जैन, रीता जैन, रवीन्द्र जैन, पूनम जैन, विवेक जैन, संदीप जैन, अभय जैन, महेश चन्द्र जैन, आशीष जैन, सनत कुमार जैन, पंकज जैन सहित अन्य इन्द्रगणों ने भगवान के समक्ष 512 अर्ध्य समर्पित किये गये। सायं 7 बजे से भगवान की संगीतमय आरती की गयी। जानकारी देते हुए विशाल जैन ने बताया कि 7 जुलाई यानी आज श्रीजी के समक्ष 1024 अर्घ्य समर्पित होगे जब कि 8 जुलाई के विश्व शांति महायज्ञ के साथ सिद्धचक्र महामण्डल विधान का समापन होगा।

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