श्रीकृष्ण जन्मोत्सव की कथा में भक्तों ने डाली बधाईयां

* पापियों के विनाश के लिए होता है प्रभु का अवतरण- कथावाचक प्रियंका शास्त्री

अजीतमल/ औरैया। योगेंद्र गुप्ता 

अजीतमल तहसील क्षेत्र के बीहड़ के ग्राम कुआं गांव में आयोजित श्रीमद्भागवत कथा के चतुर्थ दिवस पर भगवान श्रीकृष्ण के जन्म की कथा के दौरान भगवान जन्मोत्सव की मनमोहक झांकी के दर्शन से पूरा पंडाल श्रद्धा से झूम उठा।

श्रीमद् भागवत कथा के चतुर्थ दिवस पर श्रीकृष्ण के जन्मोत्सव की कथा सुनाते हुए वृंदावन धाम से पधारी कथा आचार्य प्रियंका शास्त्री ने कहा कि किसी भी व्यक्ति को अहंकार नहीं करना चाहिए क्योंकि अहंकार बुद्धि और ज्ञान का हरण कर लेता है। अहंकार ही मनुष्य का सबसे बड़ा शत्रु होता है। उन्होंने कहा कि जब- जब पृथ्वी पर अत्याचार की अति हुई है ,तब तब ईश्वर का अवतार हुआ है। जब मथुरा में राजा कंस का अत्याचार बढ़ने लगा ,तो लोगो की पुकार सुनकर नारायण ने श्रीकृष्ण के रूप में देवकी के पुत्र के रूप मे जन्म लिया जन्मोत्सव की कथा के दौरान भगवान की झांकी प्रस्तुत की गई उपस्थित श्रद्धालुओं ने झांकी के दर्शन कर उल्लास के साथ बधाइयां डाली नन्हे-मुन्ने बच्चों ने प्रसाद के रूप में खिलौने और टॉफी का लुफ्त लिया जन्म के बाद की कथा में राक्षस कंस को कृष्ण जन्म की सूचना मिलने पर कृष्ण को यमलोक पहुंचाने की योजना बना डाली ,कंस ने देवकी पुत्र को मारने के लिए कई राक्षसों को भेजा ,लेकिन फिर भी वह बाल श्रीकृष्ण का कुछ भी नही बिगाड़ सके। वहीं प्रजा और धर्म की रक्षा के लिए अंत में बाल श्रीकृष्ण ने राजा कंस का भी वध कर दिया।कंस का अंत होते ही पूरा पांडाल झूम उठा और जमकर जयकारे लगाए कथा के मुख्यआयोजक राम सिंह कुशवाह, श्रीमती पान कुमारी, करन सिंह, रुकुम सिंह, रतन सिंह सहित परीक्षित अरविंद सिंह श्री मती पूनम सिंह ने भगवान का आशीर्वाद लेकर आरती की, कथा की व्यवस्था में गांव के युवाओं द्वारा बढ़ चढ़कर हिस्सा लिया जा रहा है।

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