सैनिक को मत बांटो नामों में
*सैनिक को मत बांटो नामों में*
वीरगति और वीरगति में,
होना न चाहिए कोई भेद।
गोली जो निकली गन से,
करती एक बराबर छेद ।
करती एक बराबर छेद,
रुधिर भी निकलता लाल।
दोनों के जन की आशाएं,
उठा ले जाता निष्ठुर काल।
सैनिक को मत बांटो नामों में,
वह सरहद के निगहबान।
वीरगति पर होना चाहिए,
सबका एक बराबर सम्मान।।
– हरी राम यादव
बनघुसरा,अयोध्या
7087815074